गीता शोध संस्थान में श्रीमद्भगवद गीता की प्रासंगिकता पर मंथन

गीता शोध संस्थान एवं रासलीला अकादमी में “वर्तमान में श्रीमद्भगवद गीता की प्रासंगिकता” विषयक संगोष्ठी में गीता के कर्म, ज्ञान व भक्ति पर विद्वान वक्ताओं ने सारगर्भित व्याख्यान दिए। बच्चों ने गीता के श्लोकों का सस्वर पाठ किया।
इस अवसर पर महामंडलेश्वर श्री कृष्णानंद जी महाराज, गौरांग वैदिक संस्थान (GIVE GEETA) गोवर्धन के अध्यक्ष श्री वृंदावन चंद्र दास महाराज, महामंडलेश्वर श्री सेवानंद जी महाराज, के आर कॉलेज के संस्कृत विभाग के विभागाध्यक्ष डा. रामदत्त मिश्र, उप महापौर नगर निगम श्री मुकेश सारस्वत, संस्थान में गीता के शोध और प्रशिक्षण कार्य में जुटे विदेश मंत्रालय के अवकाश प्राप्त अवर सचिव श्री महेश चंद्र शर्मा के अलावा साहित्यकार श्री कपिल देव उपाध्याय, श्री बनवारी लाल गौड़ व श्रीमती शारदा मिश्र आदि ने गीता के कर्म, भक्ति और ज्ञान के बिन्दुओं पर प्रकाश डालते हुए ‘वर्तमान में गीता की प्रासंगिकता’ को समझाया।
उपस्थित संतानों ने उप्र ब्रज तीर्थ विकास परिषद द्वारा गीता शोध संस्थान वृंदावन में गीता के प्रचार-प्रसार के लिए किए जा रहे कार्यों की सराहना की।
अकादमी के निदेशक डा. दिनेश खन्ना ने संस्थान द्वारा गीता के अलावा रासलीला के संरक्षण के प्रयासों से अवगत कराया। संचालन उप्र ब्रज तीर्थ विकास परिषद के ब्रज संस्कृति विशेषन्न डा. उमेश चन्द्र शर्मा ने किया।
गीता शोध संस्थान में गीता के प्रशिक्षण व शोध कार्य में जुटे गीता विद्वान श्री महेश चंद्र शर्मा ने संस्थान में रासलीला सीख रहे बच्चों से गीता का सस्वर पाठ कराया। संस्थान में गीता व रासलीला प्रशिक्षण के संबंध में समन्वयक श्री चन्द्र प्रताप सिंह सिकरवार ने जानकारी दी और आभार व्यक्त किया। संगोष्ठी की व्यवस्थाएं दीपक शर्मा, जगदीश प्रकाश, रामवीर आदि संभालीं।